उत्तराखंड

मास्साब फर्जी दस्तावेज से कर रहे थे नौकरी, 23 साल बाद राज खुला तो बर्खास्त

(Udham Singh Nagar) उधमसिंह नगर जिले में एक शिक्षक (teacher) फर्जी दस्तावेजों (fake documents) के आधार पर 23 साल से नौकरी कर रहा था। अब शिक्षा विभाग की पकड़ में मामला आने पर शिक्षक को बर्खास्त किया गया है। मृतक आश्रित कोटे से इस शिक्षक की नियुक्ति हुई थी। वह सहायक अध्यापक के रूप में एक स्कूल में तैनात था।

शिक्षा विभाग के अधिकारियों के अनुसार वर्ष 2000 में मृतक आश्रित कोटे के तहत हरगोविंद सिंह की नियुक्ति सहायक अध्यापक के तौर पर राजकीय प्राथमिक स्कूल रामजीवनपुरम में हुई थी। नियुक्ति पाने के लिए हरगोविंद ने अपने शैक्षिक प्रमाण पत्र लगाए थे। कार्यालय खंडाधिकारी अनुसंधान विभाग देहरादून ने 2017 में महानिदेशक विद्यालय शिक्षा देहरादून को बताया कि हरगोविंद सिंह के प्रमाण पत्र फर्जी हैं।

इसके बाद 2017 में ही हरगोविंद को निलंबित कर दिया गया। शिक्षा विभाग के इस फैसले के खिलाफ 2020 में हरगोविंद कोर्ट चला गया। कोर्ट का फैसला आने के बाद हरगोविंद को बहाल कर दिया गया। साथ ही विभाग ने फिर से हरगोविंद के दस्तावेजों की जांच की। जांच में दस्तावेज फर्जी होने की पुष्टि के बाद अब शिक्षक हरगोविंद को बर्खास्त किया गया है।

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